Hanuman Ji Ki Aarti | हनुमान जी महाराज की आरती | Aarti Kije Hanuman Lala Ki

आरती श्री हनुमान जी महाराज की

Hanuman Aarti Lyrics in Hindi

जिस भी घर में हनुमान जी की आरती होती है उस घर से रोग-शोक कोशों दूर रहते हैं । hanuman ji maharaj ki aarti करना अत्यंत फलदायी है । समस्त संसार यह बात जानता है की तीनों लोक में यदि कोई महाबलशाली है तो वो हमारे अंजनी पुत्र बजरंगबली हैं, और यदि बजरंगबली की कृपा हम पर बनी रहे तो किसी भी प्रकार की दुख-तकलीफ-रोग-शोक इत्यादि हमारे पास कभी नहीं आता । इसीलिए hanuman ji ki aarti देवी-देवता, ऋषि मुनि एवं मनुष्य सभी पूर्ण भक्ति भाव से करते हैं ।

श्री हनुमान जी महाराज की आरती (Hanuman Ji Ki Aarti)

आरती कीजै हनुमान लला की ।

दुष्टदलन रघुनाथ कला की ॥

जाके बल से गिरिवर कांपै ।

रोग दोष जाके निकट न झांपै ॥

अंजनि पुत्र महा बलदाई ।

संतन के प्रभु सदा सहाई ॥

दे बीरा रघुनाथ पठाये ।

लंका जारि सिया सुधि लाये ॥

लंका सो कोट समुद्र-सी खाई ।

जात पवनसुत बार न लाई ॥

लंका जारि असुर संहारे ।

सियारामजी के काज संवारे ॥

लक्ष्मण मूर्छित पड़े सकारे ।

आनि सजीवन प्राण उबारे ॥

पैठि पताल तोरि जम-कारे ।

अहिरावण की भुजा उखारे ॥

बायें भुजा असुर दल मारे ।

दहिने भुजा संतजन तारे ॥

सुर नर मुनि आरती उतारें ।

जै जै जै हनुमान उचारें ॥

कंचन थार कपूर लौ छाई ।

आरति करत अंजना माई ॥

जो हनुमान जी की आरति गावै ।

बसि बैकुंठ परमपद पावै ॥

लंक विध्वंस किए रघुराई ।

तुलसीदास स्वामी आरती गाई ॥

आरती कीजै हनुमान लला की ।

दुष्टदलन रघुनाथ कला की ॥

जो मनुष्य सच्चे हृदय से हनुमान जी की आरती गाता है वो सांसारिक कष्टों से मुक्त रहता है । दुखियों के कष्टों को हरने वाले महाबली हनुमान जी सदा अपने भक्तों का कल्याण करते हैं । जिसने रावण की लंका को जला कर माता सीता तक भगवान श्रीराम का संदेश पहुंचाया । जिस रावण से पूरी पृथ्वी कांपती थी वो भी हनुमान जी का बाल भी बाँका न कर सका । अतः महाबली hanuman ji ki aarti की महिमा का वर्णन शब्दों में नहीं किया जा सकता है । आइये हम सब मिलकर पूरे श्रद्धाभाव से हनुमान चालीसा और hanuman ji maharaj ki aarti करें । जय बजरंग बली ।

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